ट्राई ने “भवनों या क्षेत्रों में डिजिटल कनेक्टिविटी के लिए रेटिंग फ्रेमवर्क पर विनियमन” पर परामर्श पत्र किया जारी

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नई दिल्ली, 28सितंबर। भारतीय दूरसंचार विनियामक प्राधिकरण (ट्राई) ने “भवनों या क्षेत्रों में डिजिटल कनेक्टिविटी के लिए रेटिंग फ्रेमवर्क पर विनियमन” पर एक परामर्श पत्र जारी किया है।

डिजिटल कनेक्टिविटी व्यक्तिगत, व्यावसायिक और सामाजिक जीवन का अभिन्न अंग बन गई है। सेवाओं और विनिर्माण क्षेत्रों के डिजिटलीकरण में तेज वृद्धि ने दुनिया में क्रांति ला दी है, जिससे अर्थव्यवस्था, नवाचार, विज्ञान और शिक्षा से लेकर स्वास्थ्य, स्थिरता, शासन और जीवन शैली तक हर चीज प्रभावित हुई है। हाल के वर्षों में डिजिटल कनेक्टिविटी की मांग कई गुना बढ़ गई है। महामारी के दौरान डिजिटल कनेक्टिविटी की महत्वपूर्ण भूमिका को स्वीकार किया जा चुका है, जिससे हर वर्ग के उपयोगकर्ताओं की तरफ से मांग में वृद्धि देखी गई, भले ही उनका स्थान कुछ भी हो यानी वे कहीं भी रहते हों।

भारतीय दूरसंचार विनियामक प्राधिकरण (ट्राई) विस्तृत अध्ययन कराकर देश भर में सेवा की गुणवत्ता की निगरानी कर रहा है और सेवा की गुणवत्ता में सुधार के लिए हितधारकों को उपयुक्त निर्देश जारी कर रहा है। भले ही, जमीनी स्तर पर दूरसंचार सेवाओं के कवरेज में महत्वपूर्ण सुधार हुए हैं, फिर भी उपयोगकर्ताओं खासकर भवनों/आवासीय या वाणिज्यिक क्षेत्रों के अंदर सेवा मांगों के लिए जरूरी गुणवत्ता के संदर्भ से अभी भी कमियां देखी जा रही हैं।

भवनों के अंदर दूरसंचार सेवाओं की गुणवत्ता उपभोक्ता हितों की सुरक्षा का एक अभिन्न अंग है। ट्राई ने पहले ही “डिजिटल कनेक्टिविटी के लिए भवनों या क्षेत्रों की रेटिंग” पर 20 फरवरी, 2023 की सिफारिश सहित विभिन्न नीतिगत पहल कर ली हैं। इन सिफारिशों में सहयोगात्मक और आत्मनिर्भर दृष्टिकोण के माध्यम से उपभोक्ताओं को अच्छा डिजिटल कनेक्टिविटी अनुभव सुनिश्चित करने के लिए बिल्डिंग रेटिंग फ्रेमवर्क की शुरूआत करने का प्रावधान किया गया है।

एक नियामक ढांचा बनाने के लिए ट्राई ने अपनी टिप्पणियों और विश्लेषण में कहा है कि, “…ट्राई भवनों की रेटिंग के लिए उचित नियामक ढांचा लेकर आएगा…”

भवनों और क्षेत्रों के लिए रेटिंग फ्रेमवर्क के कार्यान्वयन के उद्देश्य से विनियमन पर विचार विमर्श को “भवनों या क्षेत्रों में डिजिटल कनेक्टिविटी के लिए रेटिंग फ्रेमवर्क पर विनियमन पर” परामर्श पत्र जारी किया गया है। इसमें इमारतों और निर्बाध उपभोक्ता अनुभव के लिए क्यूओएस में सुधार के उद्देश्य से डिजिटल कनेक्टिविटी को ध्यान में रखा गया है।

यह दस्तावेज डिजिटल कनेक्टिविटी के लिए भवनों या क्षेत्रों की रेटिंग की आवश्यकता पर प्रकाश डालता है जो न केवल उपभोक्ताओं की वर्तमान अपेक्षाओं को पूरा करता है बल्कि प्रौद्योगिकियों के विकास या उपयोगकर्ताओं की मांग में बदलाव के साथ भविष्य के विस्तार या उन्नयन के लिए भी तैयार है। इस सीपी में सामान्य उपयोगकर्ताओं, सेवा प्रदाताओं और इकोसिस्टम के लिए रेटिंग ढांचे के लाभों पर भी चर्चा की गई है।

परामर्श पत्र में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपनाए जा रहे तौर तरीकों और भारत में जीआरआईएचए या क्रेडिट रेटिंग जैसे रेटिंग ढांचे के आधार पर ‘डिजिटल कनेक्टिविटी के लिए रेटिंग ढांचे’ के बारे में विस्तार से बताया गया है।

उपरोक्त विश्लेषण के आधार पर परामर्श पत्र डिजिटल कनेक्टिविटी के लिए रेटिंग फ्रेमवर्क के कार्यान्वयन के उद्देश्य से एक मसौदा विनियमन उपलब्ध कराता है।

मसौदा नियमों के साथ-साथ, “भवनों या क्षेत्रों में डिजिटल कनेक्टिविटी के लिए रेटिंग फ्रेमवर्क पर विनियमन” पर परामर्श पत्र ट्राई की वेबसाइट www.trai.gov.in पर रखा गया है, जिसमें हितधारकों और दूरसंचार उपभोक्ताओं से इनपुट मांगा गया है। परामर्श पत्र में उठाए गए मुद्दों पर हितधारकों से 10 नवंबर, 2023 तक लिखित टिप्पणियां और जवाबी टिप्पणियां, यदि कोई हों, 24 नवंबर 2023 तक आमंत्रित की गई हैं।

टिप्पणियां और जवाबी टिप्पणियां, विशेष रूप से इलेक्ट्रॉनिक माध्यम से,  तेजपाल सिंह, सलाहकार (क्यूओएस- I), भारतीय दूरसंचार विनियामक प्राधिकरण को ईमेल: adv-qos1@trai.gov.in पर भेजी जा सकती हैं। किसी भी स्पष्टीकरण/ जानकारी के लिए, तेजपाल सिंह, सलाहकार (क्यूओएस- I) से दूरभाष नंबर: +91-11-2323-6516 पर संपर्क किया जा सकता है।

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