डॉ जितेंद्र सिंह जम्मू और कश्मीर के कठुआ, में सामाजिक संगठन ‘सक्षम’ द्वारा आयोजित ‘दिव्यांग परिवार महा-सम्मेलन’ में शामिल हुए
डॉ. जितेंद्र सिंह ने कहा प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार उन लोगों के लिए समर्पित है जिन्हें पिछली सरकारों ने मुख्यधारा से बाहर कर दिया था
डॉ. सिंह ने 10 टीबी रोगियों के बीच किट का वितरण किया जिससे उनकी दैनिक आवश्यकताएं पूरी हो सके और 2025 तक प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के टीबी मुक्त भारत के दृष्टिकोण को पूरा किया जा सके
केंद्रीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी एवं पृथ्वी विज्ञान राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) और पीएमओ, कार्मिक, लोक शिकायत, पेंशन, परमाणु ऊर्जा और अंतरिक्ष राज्यमंत्री, डॉ. जितेंद्र सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार उन लोगों के लिए समर्पित है, जिन्हें पिछली सरकारों ने मुख्यधारा से बाहर कर दिया था।
डॉ जितेंद्र सिंह ने यह बातें जम्मू और कश्मीर के कठुआ में सामाजिक संगठन ‘सक्षम’ द्वारा आयोजित ‘दिव्यांग परिवार महा-सम्मेलन’ में की।
अपने संबोधन में, डॉ जितेंद्र सिंह ने कहा कि जिस दिन से श्री नरेन्द्र मोदी भारत के प्रधानमंत्री बने हैं, उन्होनें दिव्यांगजनों के कल्याण के लिए कुछ महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। उन्होंने कहा कि सिविल सेवा परीक्षा में दिव्यांगजनों के लिए शुल्क में छूट, सिविल सेवा परीक्षा उत्तीर्ण करने वाले दिव्यांगजनों को होम कैडर देने के दो विकल्प, दिव्यांगजनों के लिए आरक्षण को तीन प्रतिशत से बढ़ाकर चार प्रतिशत करना, दिव्यांगजनों के पेंशन में वृद्धि आदि। उन्होंने कहा कि मोदी सरकार ने हर दूसरा कदम दिव्यांगजनों के कल्याण के लिए उठाया है।
डॉ जितेंद्र सिंह ने कहा कि दिव्यांगों के कल्याण के लिए, जो दिव्यांगजनों के 15,000 पद पहले खाली थे, उन्हें सरकार ने एक विशेष अभियान के अंतर्गत भर दिया है, जो केवल प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में ही संभव था, जिन्होंने सुझाव दिया कि दिव्यांगजनों को ‘विकलांग’ के बदले ‘दिव्यांग’ (दिव्य शरीर) कहा जाना चाहिए।
डॉ. जितेंद्र सिंह ने यह भी कहा कि आने वाले वर्षों में विकास के मामले में हर विकसित राष्ट्र से आगे बढ़ते हुए भारत को शीर्ष पर पहुंचाने के लिए दिव्यांगजनों को साथ में लेने की आवश्यकता है, उन्हें भी ‘संकल्प से सिद्धि’ की यात्रा के अगले 25 वर्षों तक राष्ट्र का विकास करने में योगदान देने की आवश्यकता है जिससे जब भारत अपनी स्वतंत्रता की शताब्दी मना रहा हो तो उनका योगदान भी सुनहरे अक्षरों में लिखा जा सके।
डॉ. जितेंद्र सिंह ने यह भी कहा कि इस सरकार ने 1,600 से ज्यादा अप्रचलित और पुराने कानूनों को निरस्त कर दिया है जो देश के विकास में एक बड़ी बाधा उत्पन्न कर रहे थे और दिव्यांगजनों के कल्याण के लिए ऐसे कई कानूनों को या तो संशोधित किया गया है या निरस्त किया गया है जैसे दिव्यांग पेंशन नियम आदि।
डॉ. जितेंद्र सिंह ने कहा कि पेंशनभोगियों की सुविधा के लिए ‘चेहरा प्रमाणीकरण तकनीक’ का उपयोग करते हुए पेंशनभोगियों को ‘डिजिटल जीवन प्रमाणपत्र’ प्रदान करना सरकार द्वारा उठाए गए महत्वपूर्ण कदमों में से एक है, जो पहले अपनी पेंशन जारी रखने के लिए कई असुविधाओं का सामना कर रहे थे।
कठुआ में आज ‘दिव्यांग परिवार महा-सम्मेलन’ का आयोजन करने के लिए सामाजिक संगठन ‘सक्षम’ की सराहना करते हुए, डॉ. जितेंद्र ने कहा कि यह ‘महा-सम्मेलन’ ‘संकल्प से सिद्धि’ की दिशा में एक बढ़ता हुआ कदम है और दिव्यांगजनों के कल्याण के लिए अब तक आयोजित किया गया पहला ‘महा-सम्मेलन’ है।
कार्यक्रम के दौरान, डॉ जितेंद्र सिंह ने 2025 तक प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के टीबी मुक्त भारत के दृष्टिकोण को पूरा करने के लिए और उनकी दैनिक आवश्यकताओं का ख्याल रखने के लिए उनके द्वारा चयनित किए गए 10 टीबी रोगियों के बीच किट का वितरित किया।
कार्यक्रम के दौरान, जम्मू और कश्मीर बैंक के एमडी और सीई, श्री बलदेव प्रकाश ने केंद्रीय मंत्री डॉ जितेंद्र सिंह की उपस्थिति में ‘कॉर्पोरेट सोशल रिस्पॉन्सिबिलिटी’ के अंतर्गत सामाजिक संगठन ‘सक्षम’ को 100 व्हीलचेयर और 100 विशेष ट्राईसाइकिल प्रदान की।
इस महा-सम्मेलन हजारों दिव्यांगजनों के साथ-साथ ‘सक्षम’ के राष्ट्रीय संयुक्त सचिव अनुराग कुमार, ‘सक्षम’ के जम्मू और कश्मीर के अध्यक्ष अभय परागल, डीडीसी उपाध्यक्ष कठुआ और ‘सक्षम’ के कार्यकारी सदस्य रघुनंदन सिंह बबलू, उपायुक्त, कठुआ और एसएसपी कठुआ भी शामिल हुए।