विधानसभा में महिलाओं के खिलाफ अत्याचार के मुद्दे पर अपनी ही सरकार को घेरने पर ,मुख्यमंत्री गहलोत ने राजेंद्र सिंह गुढ़ा को किया बर्खास्त
राजस्थान , 24 जुलाई। राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अपने मंत्री राजेंद्र सिंह गुढ़ा को पद से बर्खास्त कर दिया है. गुढ़ा ने शुक्रवार को विधानसभा में महिलाओं के खिलाफ अत्याचार के मुद्दे पर अपनी ही सरकार को घेरा था, इसके कुछ ही घंटे बाद यह कार्रवाई हुई है. राजभवन के प्रवक्ता ने बताया कि राज्य मंत्री गुढ़ा को बर्खास्त करने के बारे में मुख्यमंत्री की अनुशंसा को राज्यपाल ने तत्काल प्रभाव से स्वीकार कर लिया है. राजभवन के बयान के अनुसार मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शाम राज्यपाल कलराज मिश्र को राज्य मंत्री राजेंद्र सिंह गुढ़ा को बर्खास्त करने की अनुशंसा की. इसमें कहा गया है कि राज्यपाल ने मुख्यमंत्री गहलोत की इस अनुशंसा को तत्काल प्रभाव से स्वीकार कर लिया है.
‘महिलाओं के खिलाफ बढ़ें हैं अत्याचार’
गुढ़ा ने महिला सुरक्षा और उनके खिलाफ अत्याचार के मुद्दे पर अपनी ही सरकार पर सवाल उठाया. राजस्थान विधानसभा में राजस्थान न्यूनतम आय गारंटी विधेयक 2023 पर चर्चा के दौरान कांग्रेस विधायकों ने मणिपुर में हिंसा के मुद्दे पर तख्तियां लहराईं. गुढ़ा ने अपनी ही सरकार पर सवाल उठाते हुए कहा ‘राजस्थान में, ये सच्चाई है कि हम महिलाओं की सुरक्षा में असफल हो गए, और राजस्थान में जिस तरह से अत्याचार बढ़े हैं महिलाओं के ऊपर, मणिपुर के बजाय हमें अपने गिरेबान में झांकना चाहिए.’
गुढ़ा के पास इन मंत्रालयों का था प्रभार
नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ ने कहा कि महिलाओं के खिलाफ अपराध के मामले में राजस्थान पहले नंबर पर है. राठौड़ ने बाद में ट्वीट में कहा, ‘राजस्थान में बहन-बेटियों के ऊपर हो रहे अत्याचारों व दुष्कर्म की असलियत स्वयं सरकार के मंत्री राजेंद्र गुढ़ा बता रहे हैं. संविधान के अनुच्छेद 164(2) के अनुसार मंत्रिमंडल सामूहिक उत्तरदायित्व के आधार पर काम करता है और मंत्री का बयान पूरे मंत्रिमंडल यानी सरकार का माना जाता है.’ गुढ़ा के पास सैनिक कल्याण (स्वतंत्र प्रभार), होम गार्ड एवं नागरिक सुरक्षा (स्वतंत्र प्रभार), पंचायती राज एवं ग्रामीण विकास विभाग था.
बहुजन समाज पार्टी से कांग्रेस में हुए थे शामिल
मालूम हो कि गुढ़ा उन छह विधायकों में से एक हैं, जिन्होंने 2018 का विधानसभा चुनाव बहुजन समाज पार्टी की टिकट पर जीता था, लेकिन बाद में वे कांग्रेस में शामिल हो गए. गुढ़ा को अशोक गहलोत मंत्रिमंडल में शामिल किया गया. गुढ़ा उसके बाद खुलकर सचिन पायलट का समर्थन करते नजर आए और अपने कई बयानों से विवादों में रहे.