नई दिल्ली,10अक्टूबर। भारत-पेरू व्यापार समझौते के लिए वार्ता का एक विशेष चरण वर्चुअल माध्यम से 10-11 अक्टूबर, 2023 को आयोजित होने जा रहा है। भारतीय पक्ष का नेतृत्व मुख्य वार्ताकार संयुक्त सचिव, वाणिज्य विभाग विपुल बंसल और पेरू पक्ष का नेतृत्व विदेश व्यापार और पर्यटन मंत्रालय में निदेशक (एशिया, ओशिनिया और अफ्रीका) गेरार्डो एंटोनियो मेजा ग्रिलो करेंगे।
इस विशेष चरण के दौरान शुरुआती प्रावधान और सामान्य परिभाषाएं, ओरिजिन के नियम, माल में व्यापार, सीमा शुल्क प्रक्रियाएं और व्यापार सहूलियत, व्यापार में तकनीकी बाधाएं, स्वच्छता और पादप स्वच्छता संबंधी उपायों, सामान्य और सुरक्षा अपवाद, सहयोग और कानूनी एवं संस्थागत मुद्दों/ विवाद निपटान सहित विभिन्न अध्यायों पर चर्चाएं होने की उम्मीद है। वार्ताकारों की आपसी सहूलियत के आधार पर सेवाओं, व्यक्तियों की आवाजाही, व्यापार उपचार और निवेश अध्याय पर चर्चाएं इस महीने के अंत में आयोजित की जाएंगी।
भारत-पेरू व्यापार समझौते के लिए वार्ताएं वर्ष 2017 में शुरू हुई थीं और अगस्त, 2019 में इनके पांचवें चरण का समापन हुआ। कोविड के चलते, वार्ताओं पर रोक लग गई थी।
नई दिल्ली में 3-4 अगस्त, 2023 को हुई सीआईआई-एलएसी कॉन्क्लेव के इतर, पेरू की विदेश व्यापार उप मंत्री महामहिम डॉ. टेरेसा मेरा गोम्स ने केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल से मुलाकात थी। इस दौरान, दोनों पक्षों ने व्यापार वार्ताओं को फिर से शुरू करने में दिलचस्पी दिखाई थी। इस क्रम में, केंद्रीय मंत्री गोयल ने पेरू के साथ वार्ताएं फिर से शुरू करने के निर्देश दिए थे।
यह अनुमान लगाया गया है कि व्यापार समझौते से व्यापार, निवेश को काफी प्रोत्साहन मिलेगा और विभिन्न क्षेत्रों में सहयोग बढ़ेगा। अब वार्ता का छठा दौर दिसंबर, 2023 में पेरू के लीमा में आयोजित होने वाला है।
भारत और पेरू के बीच व्यापार संबंधों में लगातार वृद्धि देखने को मिल रही है। वित्त वर्ष 2022-23 के दौरान, द्विपक्षीय व्यापार 3.12 बिलियन डॉलर तक पहुंच गया। भारत ने पेरू को 865.91 मिलियन डॉलर मूल्य का सामान निर्यात किया और पेरू से 2.25 बिलियन डॉलर सामान आयात किया। भारत से पेरू को होने वाले प्रमुख निर्यात में मोटर वाहन/ कारें, सूती धागा और फार्मास्यूटिकल्स शामिल हैं, जबकि पेरू मुख्य रूप से भारत को सोना, तांबा अयस्क और कंसंट्रेट्स का निर्यात करता है।