वैशाख अमावस्या 2023:आज है वैशाख अमावस्या , सर्वार्थ सिद्धि योग में करें पूजा और दान

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नई दिल्ली ,20 अप्रैल। वैशाख माह में आने वाली अमावस्या तिथि को वैशाख अमावस्या कहा जाता है और यह दिन स्नान व दान के लिए बेहद ही खास माना गया है. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार अमावस्या के दिन पितरों का तर्पण करने से उनकी आत्मा को शांति मिलती है और घर-परिवार में सुख-समृद्धि आती है. आज अमावस्या तिथि बेहद ही महत्वपूर्ण है क्योंकि अमावस्या के साथ ही आज सूर्य ग्रहण भी है और सूर्य ग्रहण में ही अमावस्या का पूजन किया जाएगा. बता दें कि सूर्य ग्रहण आज सुबह 7 बजकर 4 मिनट पर शुरू हो गया है और दोपहर 12 बजकर 29 मिनट तक रहेगा. ऐसे में लोगों के मन में असमंजस है कि आखिर पूजा कब और किस मुहूर्त में की जाए?

वैशाख अमावस्या 2023 शुभ मुहूर्त
वैशाख अमावस्या तिथि 19 अप्रैल को सुबह 11 बजकर 23 मिनट पर शुरू हो गई है और इसका समापन 20 अप्रैज को सुबह 9 बजकर 41 मिनट पर होगा. उदयातिथि के अनुसार 20 अप्रैल को अमावस्या का पूजन किया जाएगा. सबसे महत्वपूर्ण बात है कि पंचांग के अनुसार आज सुबह 5 बजकर 51 मिनट से लेकर राज 11 बजकर 11 मिनट तक सर्वार्थ सिद्धि योग रहेगा जो कि पूजा के लिए बेहद ही शुभ है.

अगर आप यह सोच रहे हैं कि सूर्य ग्रहण में अमावस्या का पूजन कैसे करें तो स्पष्ट कर दें कि सूर्य ग्रहण भारत में दिखाई नहीं देगा. इसलिए बेफिक्र होकर अमावस्या का पूजन किया जा सकता है.

वैशाख अमावस्या पूजन विधि
अमावस्या के दिन पवित्र नदियों में स्नान का विशेष महत्व माना गया है और इसलिए इस दिन गंगा तट पर भारी भीड़ देखने को मिलती है. स्नान के बाद व्यक्ति को अपनी क्षमता के अनुसार दान-दक्षिणा देनी चाहिए. मान्यता है कि अमावस्या के दिन जरूरतमंदों को दान करने से घर में सुख-समृद्धि और खुशहाली आती है. साथ ही अमावस्या के दिन पितरों के नाम से जल अवश्य अर्पित करें. इससे पितर प्रसन्न होते हैं और हमेशा अपना आशीर्वाद आप पर बनाएं रखते हैं. जिस व्यक्ति पर पितरों का आशीर्वाद होता है वह पितृ दोष नहीं लगता.

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